बजट 2025 में इनकम टैक्स से कोई राहत नहीं: 3 लाख तक की कमाई ही टैक्स फ्री; सैलरी वालों को 7.75 लाख तक जीरो टैक्स
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नई दिल्ली17 मिनट पहले
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बजट में इनकम टैक्स को लेकर इस बार कोई राहत नहीं दी गई है। पुरानी टैक्स रिजीम में अब भी 2.50 लाख रुपए से ऊपर की कमाई पर टैक्स देना होगा। बीते 10 सालों में पुरानी टैक्स रिजीम में इनकम टैक्स छूट में कोई छूट नहीं दी गई है।
इसमें आखिरी बार 2014-15 में बदलाव किया गया था। तक इनकम टैक्स छूट को 2 लाख रुपए से बढ़ाकर 2.50 लाख रुपए किया था। यानी 2.50 लाख रुपए तक की इनकम पर आपको जीरो यानी कोई टैक्स नहीं देना होगा।
हालांकि बजट 2020-21 में सरकार नई टैक्स रिजीम लेकर आई थी। इसमें 3 लाख रुपए तक की इनकम टैक्स फ्री किया गया था। तक से अब तक इसमें भी कोई बड़ा बदलाव नहीं हुआ है। आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि वह अगले सप्ताह नया इनकम टैक्स बिल लेकर आएंगी। अब न्यू और ओल्ड टैक्स रिजीम के बारे में जानते हैं…
सबसे पहले न्यू टैक्स रिजीम को समझें
नई टैक्स रिजीम चुनने पर पहले की ही तरह 3 लाख रुपए तक की इनकम पर टैक्स नहीं देना होगा। इसमें इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 87A के तहत सैलरी वाले 7.75 लाख रुपए तक की कमाई पर और अन्य लोग 7 लाख तक की कमाई पर टैक्स छूट पा सकते हैं।
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अब पुरानी टैक्स रिजीम को समझें
पुरानी टैक्स रिजीम चुनने पर अभी भी आपकी 2.5 लाख रुपए तक की इनकम ही टैक्स फ्री रहेगी। हालांकि इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 87A के तहत आपको 5 लाख तक की इनकम पर जीरो टैक्स देना होगा।
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पुरानी और नई टैक्स रिजीम से जुड़े 3 सवाल…
सवाल 1: पुरानी और नई टैक्स रिजीम में क्या अंतर है? जवाब: नए टैक्स स्लैब में टैक्स फ्री इनकम का दायरा 2.5 लाख रुपए से बढ़ाकर 3 लाख रुपए कर दिया गया, लेकिन इसमें टैक्स डिडक्शन यानी छीन लिए गए। वहीं, अगर आप पुराना टैक्स स्लैब चुनते हैं तो आप कई तरह के टैक्स डिडक्शन का फायदा ले सकते हैं।
सवाल 2: पुरानी टैक्स रिजीम में किस तरह छूट मिलती है? जवाब: अगर आप EPF, PPF और इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम में निवेश करते हैं। तो आपकी कुल टैक्सेबल इनकम में से ये इनकम कम हो जाएगी। वहीं, मेडिकल पॉलिसी पर किए गए खर्च, होम लोन पर चुकाए गए ब्याज और नेशनल पेंशन सिस्टम में निवेश किए गए रुपयों भी आपकी टैक्सेबल इनकम में घट जाते हैं।
सवाल 3: पुरानी टैक्स रिजीम किन लोगों के लिए बेहतर है? जवाब: अगर आप निवेश और टैक्स छूट का फायदा लेना चाहते हैं, तो पुरानी टैक्स रिजीम आपके लिए बेहतर हो सकती है। वहीं अगर आप कम टैक्स रेट और टैक्स डिडक्शन के झंझटों से बचना चाहते हैं तो नई टैक्स रिजीम आपके लिए सही हो सकती है।
पुरानी टैक्स रिजीम में 10 लाख तक की कमाई करें टैक्स
पुराने टैक्स ऑप्शन में 87A का डिडक्शन मिलाकर सालाना 5 लाख रुपए तक की कमाई पर इनकम टैक्स नहीं देना होता। अगर आपकी सालाना इनकम 5 लाख से 10 लाख के बीच है तो आपको 20% तक टैक्स लगेगा। यानी आपको 1,12,500 रुपए टैक्स चुकाना होगा। लेकिन इनकम टैक्स कानून में ऐसे कई प्रावधान यानी टैक्स छूट हैं, जिनसे आप 10 लाख तक की इनकम टैक्स फ्री कर सकते हैं। चार्टर्ड अकाउंटेंट (CA) आनंद जैन से इसका पूरा गणित समझें…
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निवेश करके बचा सकेंगे 1.5 लाख रुपए पर टैक्स
- अगर आप EPF, PPF, इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम, सुकन्या समृद्धि योजना, नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट, 5 साल की FD, नेशनल पेंशन सिस्टम और सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम में निवेश करते हैं तो आपको टैक्स छूट मिल सकती है।
- इनमें से किसी एक में या कई प्लान्स में मिलाकर अधिकतम 1.5 लाख तक का निवेश करना होगा। अगर आपने ये किया है, तो अब 10 लाख रुपए में से 1.50 लाख रुपए और घटा दें। अब टैक्स के दायरे में आने वाली इनकम 8.50 लाख रुपए रह जाएगी। इनकम टैक्स के सेक्शन 80C के तहत 1.5 लाख तक की टैक्स बचत कर सकते हैं।
होम लोन लिया है तो 2 लाख रुपए तक टैक्स बचेगा अगर आपने होम लोन ले रखा है तो आप उस पर चुकाए गए ब्याज पर टैक्स छूट ले सकते हैं। इनकम टैक्स के सेक्शन 24B के तहत एक वित्त वर्ष में 2 लाख के ब्याज पर टैक्स में छूट ले सकते हैं। इसे भी अपनी टैक्सेबल इनकम में से घटा दें। यानी, अब टैक्स के दायरे में आने वाली इनकम 6.50 लाख रुपए रह जाएगी।
मेडिकल पॉलिसी पर किया खर्च भी टैक्स फ्री
- सेक्शन 80D के तहत मेडिकल पॉलिसी लेकर आप 25 हजार रुपए तक टैक्स बचा सकते हैं। इस हेल्थ इंश्योरेंस में आपका, आपकी पत्नी और बच्चों का नाम होना चाहिए।
- इसके अलावा अगर आपके माता-पिता सीनियर सिटीजन हैं, तो उनके नाम पर हेल्थ इंश्योरेंस खरीदकर 50,000 रुपए तक की अतिरिक्त छूट ले सकते हैं। यानी, अब टैक्स के दायरे में आने वाली इनकम 5.50 लाख रुपए रह जाएगी।
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नेशनल पेंशन सिस्टम में निवेश से 50 हजार की टैक्स छूट अगर आप अलग से नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) में सालाना 50,000 रुपए तक निवेश करते हैं, तो सेक्शन 80CCD (1B) के तहत आपको अतिरिक्त 50 हजार रुपए की छूट मिल जाएगी। यानी, अब टैक्स के दायरे में आने वाली इनकम 5 लाख रुपए रह जाएगी।
अब 5 लाख रुपए पर मिलेगा 87A का फायदा इनकम टैक्स के सेक्शन 87A का फायदा उठाते हुए 10 लाख रुपए की कमाई में से 5 लाख रुपए को घटा दें, तो आपकी टैक्सेबल इनकम 5 लाख रुपए रह जाएगी। ऐसे में अब आपको इस 5 लाख रुपए पर जीरो टैक्स चुकाना होगा।